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पर्यावरण संरक्षण के लिए कम कार्बन उत्सर्जन पर दें जोर: अड. आशिष शेलार

  • सक्षम 2024-25’ अभियान के तहत पर्यावरणीय अनुकूल परिवहन को प्रोत्साहन
  • महाराष्ट्र में 500 से अधिक जागरूकता कार्यक्रमों का आयोजन
  • Focus on Low Carbon Emissions for Environmental Conservation – IT Minister Adv. Ashish Shelar

प्रीती पांडेय, नारद वार्ता संवाददाता, मुंबई: हरित और स्वच्छ ऊर्जा के माध्यम से पर्यावरण को संरक्षित करने के उद्देश्य से सार्वजनिक परिवहन प्रणाली का अधिकाधिक उपयोग किया जाना चाहिए। साथ ही, कम कार्बन उत्सर्जन वाली पर्यावरण-अनुकूल व्यवस्थाओं को अपनाने की आवश्यकता है। यह आह्वान महाराष्ट्र के सूचना एवं प्रौद्योगिकी मंत्री अड. आशिष शेलार ने ‘सक्षम 2024-25’ अभियान के अंतर्गत आयोजित कार्यक्रम में किया। उन्होंने कहा कि भारत को अपने तेल आयात पर निर्भरता कम करनी होगी और अधिक स्वच्छ ऊर्जा स्रोतों की ओर बढ़ना होगा। यशवंतराव चव्हाण प्रतिष्ठान में आयोजित इस राज्य स्तरीय कार्यक्रम में हिंदुस्तान पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन (एचपीसीएल) के पश्चिम क्षेत्र के जनरल मैनेजर बी. अच्युत कुमार, बीपीसीएल महाराष्ट्र एवं गोवा के महासंचालक अशिष राय, इंडियन ऑयल के जनरल मैनेजर अभिजीत एस. गीते, गेल इंडिया के उप महाप्रबंधक अनुराग भार्गव, तथा इंडियन ऑयल के राज्य तेल समन्वयक उमेश कुलकर्णी सहित कई गणमान्य लोग उपस्थित थे।

पर्यावरणीय संरक्षण के लिए स्वच्छ ऊर्जा जरूरी

कार्यक्रम में बोलते हुए मंत्री आशिष शेलार ने कहा कि भारत को तेल आयात के लिए भारी खर्च वहन करना पड़ता है, जिससे परिवहन लागत भी बढ़ जाती है। यदि सीएनजी और इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा दिया जाए तो कार्बन उत्सर्जन को कम किया जा सकता है, जिससे वातावरण में ऑक्सीजन का स्तर संतुलित रहेगा और नागरिकों का स्वास्थ्य भी बेहतर होगा। उन्होंने कहा, “सक्षम अभियान केवल एक जागरूकता पहल नहीं, बल्कि हमारे परिवार और देश को सशक्त बनाने का एक मिशन है। हमें सामूहिक रूप से कार्बन उत्सर्जन को कम करने की दिशा में कार्य करना होगा।”

कार्यक्रम के दौरान मंत्री शेलार ने स्कूली और महाविद्यालयीन छात्रों के लिए आयोजित इंधन एवं तेल संरक्षण विषयक वाद-विवाद प्रतियोगिता के विजेताओं को सम्मानित किया। ‘सक्षम’ (संरक्षण क्षमता महोत्सव) 2024-25 अभियान 14 से 28 फरवरी 2025 तक पूरे देश में आयोजित किया गया। इस वर्ष का थीम था “हरित और स्वच्छ ऊर्जा अपनाएं, पर्यावरण को स्वच्छ बनाएं”। इस अभियान के अंतर्गत स्कूली छात्रों, युवाओं, एलपीजी उपभोक्ताओं, ड्राइवरों, फ्लीट ऑपरेटर्स, उद्योगों, श्रमिकों, किसानों, ग्राम पंचायतों और स्वयंसेवी संस्थाओं तक जागरूकता संदेश पहुंचाया गया।

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